देहरादून के एक विश्वविद्यालय से बीसीए कर रही एक छात्रा ने बच्ची को जन्म देने के बाद प्रेमी के साथ मिलकर उसे लावारिस हालत में छोड़ दिया। बच्ची को कोई नुकसान न पहुंचे इसलिए खुद ही चाइल्ड हेल्पलाइन को फोन कर बच्ची के लावारिस हालत में पड़े होने की सूचना दी। सूचना पर पुलिस ने तत्काल नवजात को उपचार के लिए अस्पताल में भर्ती कराया और तत्काल चाइल्ड हेल्पलाइन की टीम को मौके पर बुलाया।
प्राथमिक उपचार के बाद नवजात को शिशु निकेतन केदार पुरम में दाखिल कराया। जांच के बाद पुलिस ने दो दिन के नवजात के रहस्य से पर्दा उठाकर नवजात को जन्म देने वाली मां का पता लगा लिया।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह ने बताया कि पुलिस को सूचना मिली थी कि क्लेमेनटाउन स्थित पंत मार्ग के पीछे वाली गली में एक नवजात लावारिस हालत में पड़ा है।जांच के दौरान नवजात के संबंध में सूचना देने वाले के नंबर की गहनता से जांच करने पर ज्ञात हुआ कि बच्चे को जन्म देने वाली छात्रा व उसके प्रेमी ने ही रात्रि में नवजात को सड़क किनारे छोडने के बाद चाइल्ड हेल्पलाइन पर फोन किया था। शक होने के चलते फोन करने वाले से गहनता से पूछताछ की गई तो उसने बताया कि वह बच्ची उसकी प्रेमिका की है।
बच्ची को जन्म देने वाली मां एक निजी कॉलेज में पढती है तथा दोनों के बीच पिछले पांच-छह साल से प्रेम प्रसंग चल रहा है। इस दौरान छात्रा गर्भवती हो गई। दो जुलाई को छात्रा ने नवजात बालिका को जन्म दिया। पारिवारिक मजबूरी के कारण छात्रा व उसका प्रेमी नवजात को सडक किनारे छोड़ दिया और खुद ही नवजात पड़ा होने की सूचना दी। पुलिस ने युवक व युवती के स्वजनों को बुलाया। दोनों से विस्तृत पूछताछ कर काउंसलिंग की जा रही है।