वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, एस0टी0एफ0, श्री नवनीत सिंह* द्वारा बताया गया की मार्च 2025 में अभियुक्त शिकायतकर्ता को पहले वीडियो कॉल के माध्यम से संपर्क किया और खुद को दिल्ली क्राइम ब्रांच का अधिकारी बताकर भय उत्पन्न किया। कॉल के दौरान आरोपी ने आपत्तिजनक वीडियो रिकॉर्ड किया और फिर उसे सोशल मीडिया व परिवार में प्रसारित करने की धमकी देकर ब्लैकमेल किया। डर और बदनामी के भय से शिकायतकर्ता ने कई बार बड़ी धनराशि आरोपी को ट्रांसफर की। यह पूरा अपराध एक फर्जी पहचान बनाकर, मानसिक दबाव डालकर, और तकनीकी माध्यमों का दुरुपयोग करके किया गया। परन्तु स्वयं के साथ हो रही साईबर धोखाधड़ी का पीड़ित को आभास नहीं हो पाया।
खुद को दिल्ली क्राइम ब्रांच का अधिकारी बताकर भय उत्पन्न कर के नाम पर विभिन्न बैंक खातों में धनराशि स्थानान्तरित करवायी गयी। अभियुक्त मूल रूप से राजस्थान का निवासी है, जो विगत दो वर्षों से विकासनगर के बाड़वाला क्षेत्र में रह रहा था। उसने स्थानीय लोगों को बहला-फुसलाकर विभिन्न बैंकों में खाते खुलवाए और उनके नाम से सिम कार्ड लेकर पासबुक, एटीएम कार्ड व सिम कार्ड एकत्रित किए वह अलग-अलग स्थानों पर रहकर यह कार्य करता था और बाद में यह सभी दस्तावेज आगे बेच देता था। अब तक वह लगभग 30–40 बैंक खाते इसी तरह खुलवाकर बेच चुका है